फर्जी इलेक्ट्रिक बाइक के नाम पर रिफंड का दावा ठोंका गया था
राष्ट्रीय खबर
हैदराबादः सेंट्रल क्राइम स्टेशन (सीसीएस) के जासूस विभाग (डीडी) ने शुक्रवार को लगभग 46 करोड़ से जुड़े जीएसटी रिफंड धोखाधड़ी के सात समूह मामलों में शामिल पांच जीएसटी अधिकारियों को गिरफ्तार किया। पीटला स्वर्ण कुमार, उपायुक्त – जीएसटी नलगोंडा डिवीजन, केलम वेणु गोपाल, एबिड्स सर्कल के सहायक आयुक्त (राज्य कर), पोडिला विश्व किरण, माधापुर -1 सर्कल के सहायक आयुक्त (राज्य कर), वेमावरपु वेंकट रमना, उप राज्य कर अधिकारी – माधापुर-द्वितीय सर्कल के जीएसटी और माधापुर-3 सर्कल के वरिष्ठ सहायक मैरी महिथा को जीएसटी धोखाधड़ी मामले में गिरफ्तार किया गया था।
यह वेमीरेड्डी राजा रमेश रेड्डी, मुमगारी गिरिधर रेड्डी उर्फ गिरि और कोंड्रागुंटा विनील चौधरी के साथ-साथ टैक्स सलाहकार चिराग शर्मा 1सहित चार लोगों के एक गिरोह की गिरफ्तारी और रिमांड के बाद है, जिन्होंने फर्जी इलेक्ट्रिक बाइक विनिर्माण इकाइयां शुरू कीं और उन पर जीएसटी रिफंड का दावा किया।
अधिकारियों के अनुसार, चारों ने परिसर के मालिकों से बिजली बिल एकत्र करके सात फर्जी इलेक्ट्रिक बाइक निर्माण इकाइयां शुरू कीं। विनार्ड ऑटोमोबाइल्स, योको इलेक्ट्रिक बाइक्स, क्रॉक्स इलेक्ट्रिक बाइक्स, ग्रोमोर इलेक्ट्रिक व्हीकल्स, एपेक्स इलेक्ट्रिक बाइक्स, सुप्रिया इलेक्ट्रिक बाइक्स और मैग्नम इलेक्ट्रिक बाइक्स। हैदराबाद में और बाद में फर्जी और मनगढ़ंत किराये समझौते जमा करके फर्मों को जीएसटी पोर्टल पर पंजीकृत किया।
सीसीएस डीसीपी एन स्वेता ने बताया, गिरोह के सदस्यों ने कर सलाहकार चिराग शर्मा द्वारा तैयार किए गए फर्जी चालान, ई-वे बिल और आवक आपूर्ति बिलों के आधार पर गिरफ्तार अधिकारियों को रिश्वत की पेशकश करके जीएसटी रिफंड भी दाखिल किया और दावा किया। सीसीएस डीडी ने भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 409, 420, 467, 468, 471 आर/डब्ल्यू 120-बी के तहत आपराधिक विश्वासघात और जालसाजी के लिए आरोपियों के खिलाफ सात मामले दर्ज किए।