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बिहार में इस मुद्दे पर हंगामा हो गया है
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अफसरों की टीम तमिलनाडू भेजी गयी है
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एमके स्टालिन ने नीतीश कुमार से बात की
राष्ट्रीय खबर
नयी दिल्लीः तमिलनाडू में बिहारी मजदूरों की हत्या की खबर अंततः फर्जी निकली। इस पर बहुत अधिक हंगामा होने की वजह से मामले की प्रारंभिक छानबीन में उत्तरप्रदेश के एक भाजपा नेता की पहचान हुई है।
अब सोशल मीडिया पर अफवाह फैलाने के आरोप में उत्तर प्रदेश के एक भाजपा नेता के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है। अधिकारियों ने कहा कि एक अखबार के संपादक और एक स्थानीय दैनिक के मालिक को भी शत्रुता फैलाने के आरोप में तमिलनाडु द्वारा अलग से नामित किया गया है और उन्हें गिरफ्तार करने के लिए एक पुलिस दल का गठन किया गया है।
इस बीच तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन के साथ बिहार के उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव की एक तस्वीर साझा करते हुए, प्रशांत उमराव, जो भाजपा की उत्तर प्रदेश इकाई के प्रवक्ता हैं, ने एक ट्वीट किया था कि बिहार के 12 प्रवासियों को फांसी पर लटका दिया गया था।
श्री उमराव ने कहा था कि प्रवासियों पर हमलों के बावजूद, बिहार के नेता ने श्री स्टालिन के जन्मदिन समारोह में भाग लिया। तमिलनाडु पुलिस ने प्रशांत उमराव पर क्षेत्र और भाषा के आधार पर लोगों के बीच दुश्मनी पैदा करने का आरोप लगाया है।
इसने एक प्रमुख हिंदी दैनिक के संपादक तथा एक बेवसाइट के मालिक के खिलाफ भी दुश्मनी फैलाने और दंगे भड़काने का भी मामला दर्ज किया है।
पिछले सप्ताह में, दक्षिणी राज्य में बिहार के प्रवासी श्रमिकों पर हमलों के बारे में व्हाट्सएप पर कई फर्जी संदेश साझा किए गए हैं, जिससे तमिलनाडु और बिहार में राज्य सरकार ने ऐसे संदेशों के खिलाफ चेतावनी जारी की है।
इस बीच तमिलनाडू के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन ने एक बयान जारी कर राज्य में प्रवासी श्रमिकों की सुरक्षा का आश्वासन दिया है। उन्होंने कहा कि प्रवासी श्रमिकों को डरने की जरूरत नहीं है। अगर कोई आपको धमकी देता है, तो हेल्पलाइन पर कॉल करें।
तमिलनाडु सरकार और लोग हमारे प्रवासी भाइयों की रक्षा के लिए खड़े होंगे। तमिलनाडु के जिलाधिकारियों ने हिंदी में अपील जारी कर प्रवासी श्रमिकों से नहीं घबड़ाने की अपील की है। मुख्यमंत्री एमके स्टालिन ने शनिवार को बिहार के सीएम नीतीश कुमार से बात की।
स्टालिन ने नीतीश कुमार से कहा, तमिलनाडु सरकार हमेशा प्रवासी भाइयों की रक्षा के लिए खड़ी रहेगी। तमिलनाडु के मुख्यमंत्री ने एक बयान में कहा कि सोशल मीडिया पर कुछ लोग इस तरह से ओछी राजनीति कर रहे हैं, यह बेहद निंदनीय है। पुलिस ने इस पूरी सूचना को ही फर्जी करार दिया है।