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डेरेक ओब्रायन राज्यसभा से निलंबित

  • नारेबाजी से नाराज हुए धनखड़

  • लो. स. में ओम बिड़ला भी असफल

  • राजनाथ सिंह ने भी खुद सफाई पेश की

नयी दिल्ली: तृणमूल कांग्रेस के डेरेक ओ ब्रायन को आसन की अवेहलना करने और सदन में कार्यवाही के दौरान व्यवधान पैदा करने के लिए गुरूवार को संसद सत्र की शेष अवधि के लिए राज्यसभा से निलंबित कर दिया गया।

सभापति जगदीप धनखड़ ने नेता सदन पीयूष गोयल के श्री ब्रायन को सदन में उनके असंयमित आचरण के लिए सत्र की शेष अवधि के लिए निलंबित करने के प्रस्ताव के पारित होते ही श्री ब्रायन को तत्काल सदन से बाहर जाने का आदेश दिया और सदन की कार्यवाही दो बजे तक के लिए स्थगित कर दी।

इससे पहले भी इसी मुद्दे पर सदन की कार्यवाही बारह बजे तक स्थगित करनी पड़ी थी। बारह बजे जैसे ही कार्यवाही शुरू हुई श्री धनखड़ ने कहा कि श्री बायन ने आसन के आदेश का उल्लंघन किया है और वह सदन में नारेबाजी कर रहे हैं । उनके इस आचरण को स्वीकार नहीं किया जा सकता और वह नियम 256 के तहत उनका नाम दोबारा पुकार रहे हैं।

नेता सदन पीयूष गोयल ने एक प्रस्ताव पेश कर कहा कि श्री ब्रायन द्वारा आसन की अवेहलना किये जाने और कार्यवाही में व्यवधान पैदा करने के लिए उन्हें सत्र की शेष अवधि के लिए राज्यसभा से निलंबित किया जाता है। सभापति ने इस प्रस्ताव को सदन में रखा और सदन ने इसे ध्वनिमत से पारित कर दिया।

सभापति ने श्री ब्रायन से सदन से बाहर जाने को कहा और प्रश्नकाल की कार्यवाही शुरू की लेकिन श्री ब्रायन ने उनके आदेश को अनसुना कर दिया। इस बीच विपक्षी सदस्यों ने नारेबाजी शुरू कर दी। सभापति ने कहा कि सरकार प्रश्नों का जवाब देने के लिए तैयार है लेकिन विपक्ष अपने कर्तव्य का निर्वहन करने के लिए तैयार नहीं है । उन्होंने कहा कि इसका नुकसान विपक्ष को ही होगा क्योंकि वह सरकार से सवाल पूछने का मौका गंवा रहा है। विपक्षी सदस्यों के हंगामे को देखते हुए उन्होंने सदन की कार्यवाही दो बजे तक के लिए स्थगित कर दी।

लोकसभा में विपक्षी दलों ने सुरक्षा में चूक की मुद्दे पर आज नारेबाजी करते हुए ज़बरदस्त हंगामा किया जिसके कारण अध्यक्ष ओम बिरला को सदन की कार्यवाही दो बजे तक स्थगित करनी पड़ी। सदन की कार्यवाही शुरू होते ही विपक्षी दलों के सदस्यों ने सरकार के खिलाफ सुरक्षा में हुई चूक के मुद्दे पर नारेबाजी करते हुए हंगामा शुरु कर दिया और आसन के सामने आकर नारेबाजी करने लगे। श्री बिरला ने हंगामे के बीच ही प्रश्नकाल की कार्यवाही आरम्भ कर दी लेकिन हंगामा चलता रहा।

श्री बिरला ने सदस्यों को समझाने का प्रयास करते हुए कहा जो घटना कल घटित हुई उसको लेकर हम सब चिंतित है। संसद की सुरक्षा हम सबकी जिम्मेदारी है। इसी को देखते हुए मैंने कल आप लोगों से चर्चा की और फिर आगे भी चर्चा करेंगे। आप सबको बुलाकर सुरक्षा के मुद्दे पर विचार होगा।

लोकसभा सचिवालय सुरक्षा को देखता है और सचिवालय फिर आपसे चर्चा करेगा। लोकसभा सचिवालय स्वायत्त है और सरकार उसके काम में कभी हस्तक्षेप नहीं करती इसलिए सदस्य अपनी सीटों पर बैठ जाए। लोकसभा अध्यक्ष के नाते सबकी सुरक्षा की जिम्मेदारी मेरी है इसलिए मैं आपसे चर्चा करूंगा। पहले भी ऐसी घटनाएं हुई हैं इसलिए फिर ऐसा ना हो हम सब मिलकर इस बारे में विचार विमर्श करेंगे।

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने मामले में हस्तक्षेप करते हुए कहा, हम सब दर्शक दीर्घा के पास देते हैं। हमें यह ध्यान देना है कि ऐसे व्यक्ति को पास ना दे जो संदिग्ध और अविश्वसनीय हो। अध्यक्ष ने कल की घटना को गंभीरता से लिया है और इस पर ध्यान दिया है। पुराने संसद भवन में भी नारेबाजी हुई है, पेपर फेंके गए हैं और यहां भी हुई है। मुझे लगता है कि हम सबको मिलकर इसके समाधान के लिए मिलकर बात करना चाहिए। संसद में इस मुद्दे को लेकर हंगामा पैदा करने का कोई औचित्य नहीं है।

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