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अरुणाचल झड़प के बाद एक्शन में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह

इस पूरे इलाके में ड्रोन से होगी निगरानी

  • चीन की गतिविधियों पर रहेगी कड़ी नजर

  • चार हजार किलोमीटर लंबी एलएसी पर हाई अलर्ट

भूपेन गोस्वामी

गुवाहाटी: अरुणाचल प्रदेश में भारत और चीनी सैनिकों के बीच हुई झड़प को लेकर रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने आज बैठक बुलाई है। यह बैठक राजनाथ सिंह के आवास पर हुई। इस बैठक में विदेश मंत्री एस जयशंकर, सीडीएस लेफ्टिनेंट जनरल अनिल चौहान और तीनों सेनाओं के प्रमुख, एनएसए अजीत डोभाल समेत तमाम अधिकारी मौजूद रहे।भारतीय सेना के आधिकारिक सूत्र ने बताया कि सरकार ने 4,000 किलोमीटर लंबी एलएसी पर हाई अलर्ट घोषित किया है। अब लगभग 4,000 किलोमीटर के सभी सीमावर्ती क्षेत्र को वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) के रूप में जाना जाता है, भारत सरकार ने हाई अलर्ट घोषित किया है।

बैठक में निर्णय लिया गया है कि भारतीय सेना ने पूर्वी लद्दाख-सिक्किम और भारत-चीन सीमा से लगी अरुणाचल तवांग सीमा पर   ड्रोन तैनात करेगी।। इससे चीन की हरकतों पर नजर रखने में मदद मिलेगी। जानकारी के मुताबिक जो ड्रोन तैनात किए जाएंगे वह 48 घंटे तक लगातार काम करने की क्षमता रखते हैं।

रक्षा मंत्रालय सूत्रों के मुताबिक पूर्वी लद्दाख और सिक्किम के क्षेत्रों और भारत-चीन सीमा से लगी अरुणाचल तवांग सीमा   में चीनी सैन्य गतिविधियों पर नजर रखने के लिए अच्छी क्वालिटी व लंबे समय तक बैटरी बैकअप वाले आधुनिक ड्रोन तैनात करने की तैयारी है। इससे देश की सुरक्षा व्यवस्था मजबूत होने के बाद चीन की हर चहलकदमी पर निगरानी की जा सकेगी।

दरअसल, भारतीय सैनिकों ने चीन की साजिश को नाकाम कर दिया। अरुणाचल प्रदेश के तवांग के यांगत्से इलाके में भारतीय सेना और चीनी सेना के बीच जमकर झड़प हुई। भारतीय सेना ने इसे लेकर कहा कि हमने चीन की साजिश को नाकाम किया है। अरुणाचल प्रदेश में एलएसी से सटे कुछ इलाके हैं, जो तमाम सेक्टर्स में आते हैं। यहां दोनों देशों के बीच अलग-अलग परशेप्सन रहा है। दोनों देश अपनी-अपनी तरफ क्लेम लाइन तक पेट्रोलिंग करते हैं।

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