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अब स्थानीय कारणों से हो सकती है यदा कदा बारिश

राष्ट्रीय खबर

रांचीः मौसम विज्ञान विभाग की मानें तो झारखंड के मॉनसून की विदाई हो चुकी है। पिछले साल के मुकाबले यह पांच दिन पहले ही पूरी तरह वापस लौट चुका है। विभाग के मुताबिक इसका आगमन 19 जून को हुआ और 21 जून तक पूरे राज्य में फेल गया। जबकि 13 अक्टूबर को पूरे राज्य से इसकी वापसी हो गई।

मानसून की विदाई के बाद अब मौसम में बदलाव के संकेत मिलने लगे हैं। अब हवा का रुख पहाड़ों से होगा। तापमान में कमी आने की संभावना है। इस दौरान मौसम शुष्क रहने का अनुमान है। अब अगर बारिश होती भी है तो वह स्थानीय कारणों से गी। रांची स्थित भारतीय मौसम विज्ञान विभाग से मिली जानकारी के अनुसार राज्य में इस बार मानसून कमजोर रहा।

राज्य में सामान्य से 27 प्रतिशत कम बारिश होने के कारण खेती का कार्य प्रभावित हुआ। पूरे राज्य में मानसून के मौसम  दौरान 750 मिलीमीटर बारिश हुई, जो सामान्य वर्षापात 1022।9 से 26 प्रतिशत कम रही। जबकि 1 से 13 अक्टूबर तक राज्य में 134।2 मिलीमीटर बारिश हुई, जो सामान्य वर्षापात 47।2 मिलीमीटर से 184 प्रतिशत अधिक रही।

राज्य में इस वर्ष जून और जुलाई में मानसून काफी कमजोर रहा। लेकिन अगस्त और सितंबर में अच्छी बारिश हुई। 30 सितंबर के बाद 1 से 7 अक्टूबर तक अच्छी बारिश हुई। मौसम विभाग के अनुसार दुर्गा पूजा के दौरान बारिश का अनुमान नहीं है। हालांकि 17 और 18 अक्टूबर को आसमान में बादल छाये रह सकते हैं।

लेकिन इस दौरान कहीं बारिश का अनुमान नहीं है। अब तापमान धीरे-धीरे गिरेगा। सुबह और शाम में ठंड बढ़ेगी।रांची स्थित भारतीय मौसम विज्ञान विभाग के अनुसार राज्य के 24 में से 7 जिलों में सामान्य बारिश हुई, जबकि 17 जिलों में सामान्य से कम बारिश हुई। सात जिले देवघर, दुमका, खूंटी, रांची, गिरिडीह, धनबाद और लातेहार सामान्य के करीब रहा। लेकिन चतरा जिले में सामान्य से 50 प्रतिशत कम बारिश हुई। अन्य जिले पलामू, गढ़वा, लोहरदगा, जामताड़ा, कोडरमा, हजारीबाग और गुमला में भी सामान्य से कम बारिश हुई।

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