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पहले सीमा पर सैनिक नगण्य होते थे
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अब स्वीडन भी बनेगा नाटो का सदस्य
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सीमा पर बख्तरबंद गाड़ियां भी देखी गयी
मॉस्कोः रूस के रक्षा मंत्री सेरेगेई शोइगू ने कहा है कि अब रूस अपनी सेना को और बड़ा करने जा रहा है। रूस के राष्ट्रपति ब्लादिमीर पुतिन तथा अन्य रक्षा विशेषज्ञों के साथ बैठक समाप्त होने के बाद उन्होंने यह एलान किया। उनके मुताबिक रूसी सेना में पंद्रह लाख सैनिक होंगे। इसके साथ ही अब रूसी सेना ने फिनलैंड की सीमा पर अपनी सैनिक चौकियों की स्थापना का काम प्रारंभ कर दिया है।
दरअसल यूक्रेन पर रूसी आक्रमण के बाद फिनलैंड और स्वीडन ने नाटो की सदस्यता लेने की बात कही थी। रूस ने इन दोनों ही देशों को इसके गंभीर परिणाम की चेतावनी पहले ही दे दी थी। इसके बाद भी दोनों देश अपने फैसले पर आगे बढ़ने के साथ साथ संभावित रूसी हमले से निपटने की तैयारियां भी करते रहे।
अब फिनलैंड की सीमा के करीब रूसी सैनिक छावना स्थापित होने लगी है। इस बारे में रूसी रक्षा मंत्री ने कहा कि रूस की सेना की तरफ से ऐसा करना जरूरी है क्योंकि रूस की सीमा के करीब नाटो की मौजूदगी से सुरक्षा को खतरा है। उन्होंने साफ साफ कहा था कि फिनलैंड और स्वीडन दोनों को रूस ने अपनी तरफ से आश्वस्त किया था। इसके पहले वहां इन दोनों देशों की सीमा पर रूसी जांच चौकी होने के बाद भी सैनिक गतिविधियां नहीं होती थी। अब सीमा के पार अगर नाटो की मौजूदगी हो तो पहले से सुरक्षा का इंतजाम करना आवश्यक समझा गया है।
बता दें कि फिनलैंड के साथ रूस की सीमा करीब 1340 किलोमीटर लंबी है। वह तथा स्वीडन इससे पहले नाटो के सदस्य नहीं बने थे। यूक्रेन पर हमला होने के बाद दोनों देश अब नाटो की सदस्यता लेने पर आमादा है। इसी फैसले की वजह से अब फिनलैंड के बिल्कुल करीब रूसी सेना का जमावड़ा देखा जा रहा है।
इसे छावनी स्थापित करने का फैसला बताया गया है जबकि इस सीमा के करीब भारी बख्तरबंद गाड़ियों को भी आते देखा गया है, जो इससे पहले कभी नहीं हुआ था। इस बारे में रूसी रक्षा मंत्री ने कहा कि वर्तमान में रूस में करीब दस लाख सैनिक हैं। इसे बढ़ाकर पंद्रह लाख करने का फैसला किया गया है। इसके अलावा देश में करीब सात लाख सैनिक प्रशिक्षण प्राप्त स्वयंसेवक भी है। समझा जाता है कि रूसी राष्ट्रपति ने अपनी सीमा की हर कीमत पर रक्षा की बात कही है और साथ में यह भी कहा है कि इस काम के लिए पैसे की कमी नहीं होने दी जाएगी।