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नईदिल्लीः पाकिस्तान की राजनीति वहां की सेना से निर्धारित और संचालित होती है। इमरान खान को गद्दी से हटाये जाने के बाद यह बात फिर से साबित हो गयी। इसके पहले भी कई अवसरों पर पाकिस्तानी फौज ने सत्ता पलट का काम किया है। इस बार बाजी उल्टी पड़ती नजर आ रही है। पाकिस्तान के नये सैन्य प्रमुख आसिम मुनीर की नियुक्ति से नाराज दो सीनियर जनरल ने पद छोड़ने का फैसला किया है।
खास बात ये है कि ये दोनों ही जनरल पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान के करीबी हैं। इनमें से एक लेफ्टिनेंट जनरल फैज हमीद इमरान सरकार के दौर में आईएसआई के चीफ थे। उन्हें आउटगोइंग आर्मी चीफ जनरल कमर जावेद बाजवा ने इस पोस्ट से हटा दिया था। दूसरे अफसर का नाम लेफ्टिनेंट जनरल अजहर अब्बास है। वो भी इमरान के चहेते हैं। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक कुछ और सीनियर अफसर भी जल्द ही पद छोड़ सकते हैं।
शाहबाज शरीफ सरकार ने पिछले हफ्ते 8 महीनों से जारी कयासों पर रोक लगाते हुए लेफ्टिनेंट जनरल आसिम मुनीर को आर्मी चीफ बनाने का फैसला किया। खास बात यह है कि मुनीर 27 नवंबर को रिटायर होने वाले थे। उन्हें लेफ्टिनेंट जनरल से फोर स्टार रैंक पर प्रमोट करते हुए जनरल बनाया गया। इसके बाद तीन साल का एक्सटेंशन देते हुए आर्मी चीफ बना दिया गया।
यह पूरी तरह से सियासी पोस्टिंग है। इसकी वजह यह है कि आसिम मुनीर इमरान के सख्त विरोधी हैं। अगस्त 2018 में जब इमरान प्रधानमंत्री बने तो उस वक्त मुनीर आईएसआई चीफ थे। उन्होंने कथित तौर पर इमरान को बताया था कि उनकी पत्नी बुशरा बीबी, उनके पहले पति और दोस्त फराह खान करप्शन कर करोड़ों रुपए कमा रहे हैं। इमरान ने बजाय इस पर लगाम कसने के, आसिम मुनीर को ही आईएसआई चीफ पद से हटा दिया। इसके बाद से खान और मुनीर के रिश्ते तल्ख होते चले गए।
शाहबाज शरीफ ने इसका सियासी फायदा उठाया और मुनीर को आर्मी चीफ बना दिया। पिछले हफ्ते की शुरुआत में डिफेंस मिनिस्ट्री ने नए आर्मी चीफ के अपॉइंटमेंट से जुड़ी समरी शाहबाज शरीफ को भेजी थी। इसमें 6 लेफ्टिनेंट जनरल के नाम थे। इनमें पद छोड़ने जा रहे फैज हमीद और अजहर अब्बास भी शामिल थे। कयास पहले से ही थे कि शरीफ उस अफसर को ही आर्मी चीफ बनाएंगे जो इमरान पर नकेल कस सके। यही वजह है कि आसिम मुनीर को नया आर्मी चीफ बनाया गया। फैज हमीद और अजहर अब्बास सीनियर भी हैं और उन्हें कोर कमांड करने का एक्सपीरियंस भी है। इसके बावजूद उन्हें तवज्जो नहीं दी गई। अब दोनों अफसरों ने रिटायरमेंट मांग लिया है।
इनके अलावा कम से कम 4 और अफसर इस्तीफा दे सकते हैं। इसके मायने ये हुए कि फौज में आसिम मुनीर का विरोध हो रहा है। लेफ्टिनेंट जनरल फैज हमीद इस वक्त कॉर्प्स कमांडर बहावलपुर हैं। फैज हमीद के आईएसआई चीफ रहने के दौरान उन्होंने कश्मीर के आतंकी संगठनों को भी काफी मदद दी।
तालिबान को अफगानिस्तान की सत्ता दिलाने में भी हमीद का रोल रहा और इसके फुटेज भी सामने आए थे। अजहर अब्बास भी इमरान के करीबी और कट्टरपंथी रुझान वाले अफसर माने जाते हैं। जनरल बाजवा से उनकी कभी नहीं बनी। आसिम मुनीर से भी अब्बास के अच्छे रिश्ते नहीं हैं। फिलहाल, वो चीफ ऑफ जनरल स्टाफ हैं। खास बात यह है कि फैज और अजहर अगले साल अप्रैल में रिटायर होने वाले थे। इसके पहले ही उन्होंने फौज छोड़ने का फैसला कर लिया है।