विजयवाड़ा: आंध्र प्रदेश विधानसभा में सत्तारूढ़ वाईएसआर कांग्रेस पार्टी और विपक्षी तेलुगू देशम पार्टी (तेदेपा) के विधायक सोमवार को विधानसभा अध्यक्ष के आसन के पास आपस में भिड़ गये। तेदेपा विधायक अध्यक्ष तम्मिनेनी सीताराम से जीओ एमएस नं1 के खिलाफ पार्टी द्वारा दिए गए कार्यस्थगन प्रस्ताव को स्वीकार करने की मांग करते हुए आसन के पास पहुंच गये।
वहीं वाईएसआरसीपी के विधायक भी आसन के पास पहुंचे और दोनों पार्टियों के विधायक आपस में धक्का-मुक्की करते नजर आए। इससे सदन में करीब तीस मिनट तक अफरातफरी का माहौल रहा।
बाद में तेदेपा विधायक डोला बाला वीरंजनेय स्वामी ने मीडिया प्वाइंट पर संवाददाताओं को बताया कि विधानसभा अध्यक्ष की मौजूदगी में वाईएसआरसीपी विधायक सुधाकर बाबू और एलिजा ने उन पर हमला किया। उन्होंने गंभीर आरोप लगाते हुए दावा किया कि सत्तारूढ़ पार्टी के दो विधायकों ने उनकी पिटाई की। उन्होंने अध्यक्ष सीताराम से कथित रूप से पिटाई करने वाले विधायकों की गिरफ्तारी का आदेश देने की मांग की।
विधानसभा में तेदेपा के उप नेता के अत्चन्नायडू ने कहा कि छह बार के विधायक 75 वर्षीय गोरांटला बुचैया चौधरी को वाईएसआरसीपी के विधायक वेल्लमपल्ली श्रीनिवास ने सदन में धक्का दिया था। श्री अत्चन्नायडू ने अध्यक्ष से मांग की कि वह वीडियो फुटेज बिना कट के जारी करें ताकि लोगों को पता चल सके कि विधानसभा में क्या हुआ था और कैसे तेदेपा विधायक स्वामी पर हमला किया गया था।
उप नेता ने दावा किया कि वाईएसआरसीपी के विधायकों ने सदन में तेदेपा विधायकों के साथ न केवल दुर्व्यवहार किया बल्कि अति कर दी। उन्होंने कहा, ‘‘तीन स्रातक एमएलसी सीटों पर हार को पचाने में असमर्थ, वाईएसआरसीपी नेताओं ने तेदेपा विधायकों पर हमला किया।’’
इस बीच, वाईएसआरसीपी के विधायकों ने तेदेपा विधायकों के आरोपों का खंडन किया। वाईएसआरसीपी विधायक एलिजा ने आरोप लगाया कि सदन में दलित विधायकों को गाली देने के लिए तेदेपा विधायकों के खिलाफ एससी/एसटी अत्याचार (रोकथाम) अधिनियम के तहत मामले दर्ज किये जाने चाहिए।
उन्होंने आरोप लगाया कि तेदेपा विधायकों ने कागज फाड़े और उन्हें अध्यक्ष पर फेंका। उन्होंने दावा किया कि वे (वाईएसआरसीपी विधायक) केवल अध्यक्ष को बचाने के लिए आसन के पास पहुंचे। इस बीच विधानसभा में विपक्ष के नेता एवं पूर्व मुख्यमंत्री एन चंद्रबाबू नायडू ने सदन के अंदर तेदेपा विधायक पर हमले की निंदा की।
श्री नायडू ने कहा, आंध्र प्रदेश के इतिहास में कभी भी किसी विधायक पर सदन के अंदर हमला नहीं हुआ है। यह घटना विधानसभा के इतिहास का सबसे काला दिन है। सोमवार को यहां एक विज्ञप्ति में पूर्व मुख्यमंत्री ने यहां तक दावा किया कि तेदेपा के दलित विधायक वीरंजनेय स्वामी पर हमला पूर्व नियोजित था और मुख्यमंत्री वाई एस जगन मोहन रेड्डी की सह पर यह हमला किया गया था।