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विरोध में सड़क पर बैठे राहुल गांधी

राहुल गांधी को शंकरदेव के जन्मस्थान पर जाने से रोका गया


  • वाहन पर हमला करने वाले भाजपाईः जयराम रमेश

  • संयुक्त विपक्ष ने हिमंता के इस्तीफे की मांग की

  • मोरीगांव में होर्डिंग में तोड़फोड़ की गई स्याही पोती

भूपेन गोस्वामी

गुवाहाटी : असम से गुजर रही कांग्रेस नेता राहुल गांधी की भारत जोड़ो न्याय यात्रा बीते दो दिनों से राजनीतिक टकराव में घिर गई है।दरअसल राहुल गांधी का सोमवार नगांव ज़िले के बटाद्रवा स्थित श्री श्री शंकर देव मठ मंदिर जाने का कार्यक्रम था लेकिन स्थानीय प्रशासन ने उन्हें करीब 17 किलोमीटर पहले ही हैबोरगांव में रोक लिया। असमिया समाज में प्रतिष्ठित वैष्णव संत श्रीमंत शंकर देव की जन्म स्थली बटाद्रवा सत्र मंदिर में जाने से रोकने से नाराज़ कांग्रेस नेता राहुल गांधी अपने कार्यकर्ताओं के साथ हैबरगांव में ही धरने पर बैठ गए। धरने पर बैठने से पहले राहुल गांधी ने अधिकारियों की आलोचना करते हुए मीडिया के समक्ष कहा, ऐसा लगता है जैसे आज केवल एक व्यक्ति को मंदिर में प्रवेश की अनुमति है. क्या पीएम मोदी तय करेंगे कि मंदिरों में कौन जाता है?

कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने सोमवार को दावा किया कि राहुल गांधी को वैष्णव संत श्रीमंत शंकरदेव के जन्मस्थल का दर्शन करने से रोकने के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने असम सरकार पर दबाव डाला। राहुल को आज सुबह हैबोरगांव में रोक दिया गया, जिसकी वजह से वह जन्मस्थल पर नहीं जा सके। राहुल को रोकने पर कांग्रेस के वरिष्ठ नेता, पार्टी कार्यकर्ता और समर्थक वहीं हैबोरगांव में धरने पर बैठ गए। मुख्यमंत्री हिमंत विश्व शर्मा ने रविवार को संवाददाताओं को संबोधित करते हुए कहा था कि उन्होंने 22 जनवरी को अयोध्या में राम मंदिर में होने वाली प्राण प्रतिष्ठा से पहले राहुल से वहां नहीं जाने का अनुरोध किया है।

इसके बाद श्री शंकरदेव सत्र की प्रबंधन समिति ने घोषणा की थी कि अपराह्व तीन बजे से पहले कांग्रेस नेता को परिसर में प्रवेश करने की अनुमति नहीं दी जाएगी। रमेश ने कहा, में 11 जनवरी को सत्र में जाने की अनुमति दी गई थी। लेकिन अचानक 20 जनवरी को हमें बताया गया कि राहुल केवल राम मंदिर में प्राण प्रतिष्ठा के बाद ही दर्शन कर सकते हैं।उन्होंने कहा, स्पष्ट है कि अहंकारी शक्तियां कैमरे का पूरा ध्यान अपने ऊपर चाहती हैं और असम सरकार पर यह कदम उठाने के लिए दबाव डाला गया।

रमेश ने कहा, जब अधिकारियों ने राहुल को बताया कि कानून-व्यवस्था की समस्या हो सकती है, तो उन्होंने  अकेले जाने की बात कही लेकिन उसे भी अस्वीकार कर दिया गया। जयराम रमेश ने कहा कि उनके वाहन पर 21 जनवरी को उस जिले में हमला किया गया था, जहां असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा के भाई पुलिस अधीक्षक के रूप में कार्य करते हैं। असम के सोनितपुर जिले में स्थित जमुगुरीहाट में जयराम रमेश के वाहन पर कथित हमला किया गया था।

संयुक्त विपक्षी मंच ने कांग्रेस नेताओं पर हमले की निंदा की, हिमंत बिस्वा सरमा के इस्तीफे की मांग की.22 जनवरी को असम के सोनितपुर में भारत जोड़ो न्याय यात्रा के दौरान कांग्रेस नेताओं राहुल गांधी, जयराम रमेश और भूपेन बोरा पर हमले और तोड़फोड़ की घटनाओं की निंदा की।अखिल गोगोई के नेतृत्व में संयुक्त विपक्षी मंच ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए कांग्रेस नेताओं पर हमले की कड़ी निंदा की। और हिमंत बिस्वा सरमा के इस्तीफे की मांग की है।

 500 साल पुरानी गुलामी खत्म, आज से राम राज्य: हिमंत बिस्वा सरमा

पूर्वोत्तर संवाददाता

गुवाहाटी : असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा ने 22 जनवरी को गुवाहाटी के अंबारी में राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा समारोह के लाइव टेलीकास्ट कार्यक्रम में भाग लेने के बाद कहा कि देश ने एक नई सुबह देखी, 500 साल पुरानी दासता का अंत हुआ।  कार्यक्रम के बाद मीडिया से बात करते हुए, सीएम सरमा ने कहा, असम के सीएम हिमंत बिस्वा सरमा कहते हैं, 500 साल पुरानी दासता समाप्त हो गई है। इससे पता चलता है कि इस भारत में सब कुछ संभव है। पीएम मोदी के नेतृत्व में भारत को एक नया सवेरा देखने का अवसर मिला। मुझे पूर्ण विश्वास है कि आज से भारत में राम राज्यशुरू हो जाएगा और उसी के साथ भारत विश्व गुरु भी बन जाएगा।

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