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विम्सटेक की बैठक के दौरान दोनों राष्ट्राध्यक्षों के बीच संक्षिप्त बैठक

परस्पर रिश्ता बेहतर करने पर दोनों ने आपसी चर्चा की

  • शेख हसीना के बयानों पर युनूस को आपत्ति

  • अंतरिम सरकार बनने के आठ माह बाद बैठक

  • मोदी ने 21 सूत्री कार्य योजना का प्रस्ताव रखा

राष्ट्रीय खबर

नईदिल्लीः बांग्लादेश के कार्यवाहक मुख्य सलाहकार मोहम्मद यूनुस और नरेंद्र मोदी के बीच पहली मुलाकात बैंकॉक में विम्सटेक की बैठक के दौरान हुई। भारतीय प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने अगस्त में शेख हसीना के शासन के पतन के बाद बांग्लादेश में अंतरिम सरकार के मुख्य सलाहकार प्रोफेसर मुहम्मद यूनुस के साथ अपनी पहली द्विपक्षीय बैठक की।

यह बैठक स्थानीय समयानुसार दोपहर 12:30 बजे बैंकॉक के शांगरी-ला होटल में बिम्सटेक शिखर सम्मेलन के दौरान आयोजित की गई। भारतीय प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और मुख्य सलाहकार प्रोफेसर यूनुस के बीच यह बैठक बांग्लादेश की अंतरिम सरकार के आठ महीने बाद हुई। इस बैठक में प्रधानमंत्री मोदी ने दो टूक लहजे में बांग्लादेश में अल्पसंख्यकों पर हो रहे हमलों का मुद्दा उठाया और उनकी सुरक्षा सुनिश्चित करने की बात कही।

बांग्लादेश ने कहा कि मुख्य सलाहकार प्रोफेसर यूनुस ने बैठक में पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना के प्रत्यर्पण का मुद्दा उठाया। शुक्रवार को बैठक के बाद मुख्य सलाहकार के प्रेस सचिव शफीकुल आलम ने संवाददाताओं को बताया, बैठक में दोनों देशों के बीच आपसी हितों के मुद्दों पर चर्चा हुई। मुख्य सलाहकार ने बैठक में शेख हसीना के प्रत्यर्पण और भारत में बैठकर उनके (शेख हसीना) द्वारा की जा रही विभिन्न भड़काऊ (आक्रामक) टिप्पणियों के बारे में बात की। श्री आलम ने कहा, बैठक में सीमा पर हत्याओं, गंगा संधि के नवीनीकरण और तीस्ता नदी जल बंटवारे पर भी चर्चा हुई।

पिछले कुछ दिनों से बांग्लादेश और भारत की मीडिया में दोनों पड़ोसी देशों के शीर्ष नेताओं के बीच बैठक को लेकर चर्चा चल रही है। ढाका में अधिकारियों ने घोषणा की थी कि बांग्लादेश बिम्सटेक शिखर सम्मेलन के दौरान दोनों शीर्ष नेताओं के बीच द्विपक्षीय बैठक आयोजित करने में रुचि व्यक्त करते हुए एक पत्र भेजेगा। हालांकि बांग्लादेशी मीडिया में इसकी खबर प्रकाशित हुई, लेकिन भारतीय अधिकारियों ने इसकी पुष्टि नहीं की है। परिणामस्वरूप, बैठक को लेकर अंतिम क्षण तक अनिश्चितता बनी रही।

यह बैठक शुक्रवार को थाईलैंड के बैंकॉक में बंगाल की खाड़ी क्षेत्रीय सहयोग पहल (बिम्सटेक) शिखर सम्मेलन के दौरान आयोजित की गई। नरेंद्र मोदी के साथ इस मुलाकात के दौरान बांग्लादेश के मुख्य सलाहकार प्रोफेसर यूनुस ने उन्हें एक दशक पुरानी एक यादगार तस्वीर भेंट की। प्रधान सलाहकार के उप प्रेस सचिव अबुल कलाम आज़ाद मजूमदार ने बीएसएस को बताया कि भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 3 जनवरी, 2015 को मुंबई में 102वीं भारतीय विज्ञान कांग्रेस में नोबेल पुरस्कार विजेता प्रोफेसर यूनुस को स्वर्ण पदक प्रदान किया था। यही तस्वीर दस साल बाद बांग्लादेश के वर्तमान प्रधानमंत्री प्रोफेसर यूनुस ने मोदी को उपहार में दी थी।

इस बीच भारत ने बिम्सटेक देशों में परस्पर आर्थिक सहयोग बढ़ाने के लिए 21 सूत्रीय कार्ययोजना आज पेश की और इस मंच को कनेक्टिविटी के विस्तार के साथ ही सांस्कृतिक बुनियाद पर परस्पर व्यापार एवं डिजीटल प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में सहयोग बढ़ाने का प्रस्ताव किया।

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने आज यहां आयोजित छठे बिम्सटेक शिखर सम्मेलन में बिम्सटेक देशों के बीच सहयोग के विभिन्न पहलुओं को शामिल करते हुए एक 21 सूत्री कार्य योजना का प्रस्ताव रखा। उन्होंने बिम्सटेक देशों के बीच व्यापार को बढ़ावा देने और आईटी क्षेत्र की समृद्ध क्षमता का लाभ उठाने का आग्रह किया। उन्होंने म्यांमार और थाईलैंड में हाल ही में आए भूकंप के मद्देनजर आपदा प्रबंधन के क्षेत्र में मिलकर काम करने की आवश्यकता पर भी बल दिया।

श्री मोदी ने अंतरिक्ष की दुनिया में काम करने और सुरक्षा तंत्र को मजबूत करने पर जोर दिया। बिम्सटेक को सामूहिक रूप से ऊर्जावान बनाने और नेतृत्व करने वाले युवाओं की भूमिका को रेखांकित करते हुए उन्होंने उम्मीद जताई कि सांस्कृतिक संबंध बिम्सटेक देशों को और करीब लाएंगे। प्रधानमंत्री ने अपने वक्तव्य में कहा, वैश्विक भलाई को निरंतरता देने के लिए बिम्सटेक एक महत्वपूर्ण मंच है। यह जरूरी है कि हम इसे मजबूत करें और अपने जुड़ाव को और गहरा करें।

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