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कानून बनाने से ही रुकेगी गोहत्या: शंकराचार्य

अपने पूर्व के हठ और मांग पर अड़े हैं हिंदू धर्म प्रमुख

  • मोदी के मन की बात अच्छी लगती है

  • जनता के मन की पीड़ा को भी समझें

  • गोवंश का घटना बड़ी चिंता की बात

मथुराः ज्योतिषपीठाधीश्वर जगद्गुरु शंकराचार्य अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती ने कहा है कि गोहत्या जैसे जघन्य अपराध पर अंकुश कानून बना कर ही लगाया जा सकता है। गोहत्या बन्द करने तथा गाय को ‘मां’ का दर्जा देने की मांग करते हुए शंकराचार्य अविमुक्तेश्वरानन्द सरस्वती ने 22 सितंबर को अयोध्या से गोप्रतिष्ठा ध्वज यात्राप्रारंभ की थी जिसके समापन वृन्दावन में बांकेबिहारी मन्दिर में ध्वजारोहण से हुआ। शंकराचार्य ने कहा कि गाय में 33 करोड़ देवी देवताओं का वास रहता है।

इसलिए गाय की पूजा सभी देवताओं की पूजा है। ऐसी गोमाता का भारत में कटना एक कलंक की तरह है। उन्होंने बताया कि उन्होंने इस यात्रा के जरिये जनजागरण का अभियान अयोध्या से शुरू किया था। देश के कई प्रांतों में वे गोहत्या रोकने के लिए जनजागरण का कार्य कर आए हैं। स्रेह बिहारी मन्दिर वृन्दावन में रविवार को पत्रकारों से बातचीत करते हुए उन्होंने कहा प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के मन की बात हमको ओैर समाज को अच्छी लगती है मगर उन्हे गोहत्या को लेकर जनता के मन की पीड़ा भी समझनी होगी।

प्रधानमंत्री अपने घर में गो पालन करते है मगर गो मांस के निर्यात में दुनिया में दूसरी पायदान पर खड़े देश की आवाज उन्हे सुननी होगी। उन्होने कहा कि गो माता को राष्ट्र माता घोषित किया जाए और जब सब की माता गो माता होगी तो फिर भाई भाई क्यों बंटेंगे। इसीलिए हम चाहते है कि गो माता का वध बंद हो। देश में गोवंश की घटती तादाद चिंता का विषय है। शंकराचार्य ने धर्म नगरी वृंदावन में पहले बांकेबिहारी मन्दिर में आशीर्वाद लिया फिर पास ही स्थित राधा स्रेह बिहारी मंदिर में भगवान के दर्शन किए। इस अवसर पर उन्होंने वहां आए लोगों से गो हत्या रोकने और इस कार्य के लिए हिंदुओं को जगाने के लिए अपील की।

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