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भाजपा विरोधी गठबंधन अब इंडिया

  • भाजपा विरोधी 26 दल एकत्रित हुए हैं

  • ग्यारह सदस्यीय समन्वय समिति बनेगी

  • गठबंधन की नेता सोनिया गांधी हो सकती है

राष्ट्रीय खबर

बेंगलुरुः अब यूपीए इतिहास होने जा रहा है। यहां आयोजित भाजपा विरोधी दलों की बैठक में नये गठबंधन का नाम इंडिया रखा गया है। वैसे इसके संकेत कई नेताओँ को ट्विट से मिल गये थे। अभी यह दो दिवसीय बैठक जारी है और इसके बीच ही यह सूचना आयी है कि इन्हीं दलों की अगली बैठक मुंबई में होगी।

कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि विपक्षी गठबंधन के 11 सदस्यों की समन्वय समिति बनाई जाएगी। उन्होंने कहा कि मुंबई में गठबंधन की अगली बैठक से पहले समिति के सदस्यों के नामों को अंतिम रूप दे दिया जाएगा। पटना बैठक के बाद से ही अटकलें तेज थीं। बेंगलुरु बैठक के बीच बीजेपी विरोधी राजनीतिक गठबंधन की ओर से एक खास संदेश आया।

वहीं बैठक के अंत में एलान किया गया कि इस बार कांग्रेस के नेतृत्व वाले यूपीए गठबंधन के बजाय 26 विपक्षी दल एक नए मंच पर इकट्ठा होने जा रहे हैं। गठबंधन की अगली बैठक महाराष्ट्र के मुंबई में होगी। मंगलवार को विपक्षी गठबंधन का नया नाम भी सामने आ गया। नए विपक्षी गठबंधन का नाम भारत के नाम पर रखा गया- इंडिया । बैठक के अंत में कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने नए गठबंधन के नाम की घोषणा की। संयोग से, बैठक खत्म होने से पहले, तृणमूल के राज्यसभा नेता डेरेक ओ ब्रायन ने एक ट्वीट में नाम बदलने का संकेत दिया। उन्होंने लिखा, चक दे! इंडिया

हालांकि, नाम बदलने के बावजूद खड़गे ने नए गठबंधन के अध्यक्ष या संयोजक पद की घोषणा नहीं की है। सोनिया गांधी यूपीए की अध्यक्ष थीं। हालांकि, खड़गे ने कहा कि विपक्षी गठबंधन के 11 सदस्यों की समन्वय समिति बनाई जाएगी। उन्होंने कहा कि मुंबई में गठबंधन की अगली बैठक से पहले समिति के सदस्यों के नामों को अंतिम रूप दे दिया जाएगा।

उन्होंने यह भी कहा कि बेंगलुरु में विस्तृत चर्चा की गई है ताकि समान विचारधारा वाले भाजपा विरोधी दल लोकसभा चुनाव से पहले एक साझा न्यूनतम कार्यक्रम के साथ आगे बढ़ सकें। कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा कि साझा कार्यक्रम की संभावना पर विचार करने के लिए एक अलग समिति बनाई जा सकती है। वैसे समझा जाता है कि श्री खडगे ने सहयोगी दलों के बीच यह संदेश दे दिया है कि कांग्रेस अभी प्रधानमंत्री पद की दावेदारी नहीं कर रही है। दूसरी तरफ राहुल के मुद्दे पर कुछ लोगों को आपत्ति होने की वजह से माना जा रहा है कि इस नये गठबंधन की प्रमुख संभवतः श्रीमती सोनिया गांधी ही होंगी।

इससे पहले कल श्रीमती गांधी द्वारा आयोजित रात्रिभोज में पूर्व की मनाही के बाद भी ममता बनर्जी शामिल हुई। कुछ दिन पहले ही ममता की सर्जरी भी हुई थी। इसी बीच वह तृणमूल के अखिल भारतीय महासचिव अभिषेक बनर्जी के साथ बेंगलुरु पहुंचे। विपक्षी खेमे की बैठक में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल से लेकर बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार तक कई लोग शामिल हुए।

वहीं सोनिया के बुलावे पर ममता भी इस डिनर में शामिल हुईं। उन्होंने डॉक्टरों की सलाह को लगभग नजरअंदाज कर दिया और डिनर करने चले गए। वह कांग्रेस नेता सोनिया गांधी के बगल वाली कुर्सी पर बैठे नजर आ रहे हैं। एक समय उनके बीच राजनीतिक मतभेदों के कारण दूरियां आ गई थीं, लेकिन बेंगलुरु बैठक के पहले दिन ही उनके बीच की दूरियां दूर हो गईं। वैसे आज की बैठक में नेताओं के बैठने के स्थान पटना की बैठक से अलग होने के भी अलग अर्थ निकाले जा रहे हैं।

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