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किसानों के प्रदर्शन को लेकर प्रशासनिक तैयारियां पूरी

चंडीगढ़ के चारों तरफ बैरिकेड लगाये गये

  • बारह सौ जवानों को तैनात किया गया

  • रोका गया तो धरना पर वहीं बैठेंगे

  • मेरी नर्मी को कमजोरी ना समझेः मान

राष्ट्रीय खबर

चंडीगढ़ः संयुक्त किसान मोर्चा (एसकेएम) की अपील पर अपनी मांगों को लेकर बुधवार को अनिश्चितकालीन आंदोलन शुरू करने के लिए चंडीगढ़ की ओर कूच कर रहे कई किसान यूनियनों को चंडीगढ़ में प्रवेश करने से रोकने के लिए चंडीगढ़ पुलिस ने भारी सुरक्षा तैनात करके शहर के सभी प्रवेश मार्गों को सील कर दिया है। चंडीगढ़ पुलिस ने पंजाब के साथ लगते 18 प्रवेश मार्गों को सील कर दिया है तथा वहां 1200 जवानों को तैनात किया गया है। इसके कारण मोहाली-चंडीगढ़ सीमा पर धीमी गति से यातायात की आवाजाही हो रही है।

एसकेएम ने साफ कर दिया है कि मोर्चा ट्रैक्टर ट्रॉली के साथ हर हाल में चंडीगढ़ कूच करेगा। पुलिस जहां भी उनको रोकेगी, वे धरने पर बैठ जाएंगे। भारतीय किसान यूनियन (एकता-उगराहां) के अध्यक्ष जोगिंदर सिंह उगराहां ने किसानों से सड़कों, राजमार्गों और रेलवे पटरियों को अवरुद्ध न करने की अपील की है, क्योंकि इससे जनता को असुविधा होगी। उन्होंने किसानों को सलाह दी कि अगर उन्हें आगे बढ़ने से रोका जाता है तो वे सड़क किनारे धरना दें। उन्होंने सभी किसान यूनियनों से चंडीगढ़ में पक्का मोर्चा में शामिल होकर विरोध दर्ज कराने की अपील की, जहां प्रशासन ने अभी तक विरोध के लिए जगह आवंटित नहीं की है।

उल्लेखनीय है कि सोमवार को मुख्यमंत्री भगवंत मान की अगुआई वाली पंजाब सरकार और एसकेएम के बीच वार्ता विफल होने के कुछ घंटों बाद, उगराहां सहित किसान नेताओं के घरों पर छापे मारे जा रहे हैं, जो मंगलवार को पूरा दिन जारी रहे। इस दौरान किसान नेताओं को घरों से हिरासत में ले लिया गया, जबकि कुछ को नजरबंद भी कर दिया गया।

किसानों की मांगों पर चर्चा के लिए वार्ता बीच में ही भंग होने पर किसान नेताओं ने दावा किया कि मुख्यमंत्री बिना किसी उकसावे के गुस्से में बैठक से बाहर चले गए। किसान नेता सरवन सिंह पंधेर ने कहा, करीब 18 जिलों में कार्यक्रम होंगे। अकेले अमृतसर में 21 जगहों पर हम भगवंत मान के पुतले जलाएंगे।

उल्लेखनीय है कि श्री मान ने किसानों के साथ बैठक में कहा था कि पंजाब को धरना स्टेट बना रखा है, जो बर्दाश्त नहीं है। बंद के कारण पंजाब का पहले ही बहुत नुकसान हो चुका है। श्री मान ने कहा,  मैंने किसान नेताओं से पूछा कि चंडीगढ़ में मोर्चा लगाने को लेकर उनका क्या स्टैंड है तो उनका जवाब था कि मोर्चा जरूर लगाएंगे। मतलब बैठक भी करनी है और पक्का मोर्चा भी लगाना है, लेकिन ये दोनों साथ-साथ नहीं चल सकते, इसलिए मैंने कह दिया कि मोर्चा लगा लो। उन्होंने कहा, मेरी नरमी को मेरी कमजोरी न समझा जाए। सरकार की तरफ से सख्त एक्शन लिया जाएगा। उन्होंने कहा कि रोजाना रेल, सड़क रोकने का रवैया सही नहीं है। किसानों की सभी मांगें केंद्र से संबंधित हैं।

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